मुहावरे और कहावतें

101. ऊपर-ऊपर बाबाजी, भीतर दगाबाजी का अर्थ है– बाहर से अच्छा, भीतर से बुरा

102. आप डूबे जग डूबा का अर्थ है– जो स्वंय बुरा होता है, दूसरों को भी बुरा समझता है

103. लोहा मानना का अर्थ है– प्रभुत्व स्वीकार करना

104. नाक में दम करना का अर्थ है– परेशान करना

105. नाक रगड़ना का अर्थ है– विनती करना

106. अपनी-अपनी डफली, अपना-अपना राग का अर्थ है– परस्पर संगठन या मेल न रखना

107. सत्तर चूहे खाके बिल्ली चली हज को का अर्थ है– जन्म भर बुरा करके अन्त में धर्मात्मा बनना

108. आँख का नीर (पानी) ढल जाना का अर्थ है– निर्लज्ज हो जाना

109. चाँदी का ऐनक लगाना का अर्थ है– किसी-न-किसी प्रकार प्रतिष्ठा बनाए रखना

110. किसी का घर जले, कोई तापे का अर्थ है– दूसरे का दु:ख में देखकर अपने को सुखी मानना

111. ताड़ से गिरा तो खजूर पर अटका का अर्थ है– एक खतरे में से निकलकर दूसरे खतरे में पड़ना

112. पहले भीतर तब देवता-पितर का अर्थ है– पेट-पूजा सबसे प्रधान

113. सीधी उँगली से घी नहीं निकलता का अर्थ है– सिधाई से काम नहीं होता

114. अंधों में काना राजा का अर्थ है– अज्ञानियों में अल्पज्ञान वाले का सम्मान होना

115. मियाँ-बीवी राजी तो क्या करेगा काजी का अर्थ है– जब दो ​व्यक्ति परस्पर किसी बात पर राजी हों तो दूसरे को इसमें क्या

116. नौ नगद, न तेरह उधार का अर्थ है– अधिक उधार की अपेक्षा थोड़ा लाभ अच्छा

117. आधा तीतर आधा बटेर का अर्थ है– बेमेल तथा बेढंगा होना

118. गाँव का जोगी जोगड़ा, आन गाँव का सिद्ध का अर्थ है– बाहर के व्यक्तियों का सम्मान, पर अपने यहाँ के व्यक्तियों की कद्र नहीं

119. आग लगन्ते झोंपड़ा जो निकले सो लाभ का अर्थ है– नष्ट होती हुई वस्तुओं में से जो निकल आये वह लाभ ही है

120. दमड़ी की बुलबुल, नौ टका दलाली का अर्थ है– काम साधारण, खर्च अधिक

121. सन्न रह जाना का अर्थ है– आश्चर्यचकित होना

122. सिर उठाना का अर्थ है– विरोध करना

123. शेखी बघारना का अर्थ है– डींग हाँकना

124. ऊँट बहे और गदहा पूछे कितना पानी का अर्थ है– जहाँ बड़ों का ठिकाना नहीं, वहाँ छोटों का क्या कहना

125. सब धान बाईस पसेरी का अर्थ है– अच्छे-बुरे सबको एक समझना

126. आये थे हरि-भजन को ओटन लगे कपास का अर्थ है– करने को तो कुछ आये और करने लगे कुछ और

127. नाश कर देना के लिए मुहावरा है– पानी फेर देना

128. दाम लगाना का अर्थ है– मूल्य आँकना

129. शैतान की आँत का अर्थ है– बहुत लंबी वस्तु

130. साँप मरे पर लाठी न टूटे का अर्थ है– अपना काम हो जाय पर कोई हानि भी न हो

131. चूहे घर में दण्ड पेलते हैं का अर्थ है– अभाव-ही-अभाव

132. पूछी न आछी, मैं दुलहिन की चाची का अर्थ है– जबरदस्ती किसी के सर पड़ना

133. माले मुफ्त दिले बेरहम का अर्थ है– मुफ्त मिले पैसे को खर्च करने में ममता न होना

134. उद्योगिनं पुरुषसिंहनुपैति लक्ष्मी का अर्थ है– उद्योगी को ही धन मिलता है

135. काबुल में क्या गदहे नहीं होते का अर्थ है– अच्छे-बुरे सभी जगह हैं

136. मार-मार कर हकीम बनाना का अर्थ है– जबरदस्ती आगे बढाना

137. आगे कुआँ, पीछे खाई का अर्थ है– हर तरफ हानि का आशंका